वॉयस ऑफ़ ए टू जेड न्यूज़:-सीजेआई यूयू ललित की अगुवाई में हुई बैठक में संविधान बेंच की कार्यवाही का सीधा प्रसारण करने का फैसला लिया गया था। कोर्ट ने लाइव स्ट्रीमिंग की शुरुआत के लिए 27 सितंबर की तारीख तय की थी।
सुप्रीम कोर्ट में मंगलवार ऐतिहासिक दिन साबित हुआ। यहां पहली बार संवैधानिक बेंच की सुनवाई का सीधा प्रसारण किया। खास बात है कि इस दौरान महाराष्ट्र के चर्चित शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे बनाम मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे कैंप के सियासी मुद्दों पर सुनवाई हुई। सोमवार को ही मुख्य न्यायाधीश यूयू ललित ने कहा था कि लाइव स्ट्रीम के लिए सुप्रीम कोर्ट का जल्दी अपना खुद का प्लेटफॉर्म होगा। असली शिवसेना किसकी है? इस सवाल का जवाब सियासत से लेकर कानूनी गलियारों में भी खोजा जा रहा है। शीर्ष न्यायालय ने अगस्त में इस मामले को संविधान बेंच के पास भेज दिया था। मंगलवार को जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अगुवाई वाली बेंच ने महाराष्ट्र के सियासी संकट से जुड़ी याचिकाओं पर सुनवाई की। अदालत का कहना था कि दायर की गई यचिकाओं में संविधान से जुड़े अहम मुद्दे उठाए गए हैं। इसमें अयोग्य घोषित करने, स्पीकर की शक्तियां और राज्यपाल से जुड़े मुद्दे शामिल थे। दरअसल, संविधान का 10वां शेड्यूल में चुने गए और नामित सदस्यों को पार्टी बदलने से रोकने और दल बदल के खिलाफ कड़े प्रावधान शामिल हैं। सीजेआई की अगुवाई में हुई बैठक में संविधान बेंच की कार्यवाही का सीधा प्रसारण करने का फैसला लिया गया था। कोर्ट ने लाइव स्ट्रीमिंग की शुरुआत के लिए 27 सितंबर की तारीख तय की थी। खास बात है कि 27 सितंबर, 2018 को, भारत के तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा ने संवैधानिक महत्व के मामलों की कार्यवाही के सीधे प्रसारण या वेबकास्ट को लेकर ऐतिहासिक निर्णय लिया था। महाराष्ट्र के सियासी संकट के अलावा दो और संवैधानिक बेंच की कार्यवाही हुई। इनमें आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) कोटा और ऑल इंडिया बार एग्जामिनेशन का मामला शामिल है। इसकी सुनवाई जस्टिस एसके कौल करेंगे।