वॉयस ऑफ़ ए टू जेड न्यूज़:-छात्रों और प्रशासन के बीच गतिरोध खत्म करने की दिशा में बात थोड़ी आगे बढ़ी है। रविवार को छात्रों ने प्रयागराज जिला प्रशासन के सामने अपना पक्ष रखा। ई।
इलाहाबाद विश्वविद्यालय में फीस वृद्धि को लेकर दो सप्ताह से चले आ रहे गतिरोध को दूर करने की कवायद शुरू हो गई है। कमिश्नर विजय विश्वास पंत, डीएम संजय खत्री और आईजी राकेश सिंह ने रविवार को संगम सभागार में आंदोलनकारी छात्रों से मुलाकात कर उन्हें शांतिपूर्वक अपनी बात रखने की सलाह दी। प्रशासनिक अधिकारियों की मौजूदगी में मंगलवार को इविवि प्रशासन के साथ छात्रों की बात पर सहमति बनी। त्योहारी सीजन में छात्र आंदोलन को लेकर प्रशासन और पुलिस के अफसर पर चिंता में है। भारी संख्या में फोर्स विश्वविद्यालय परिसर में लगी है जिसके कारण शहर में सुरक्षा प्रबंधन चुनौतीपूर्ण बना हुआ है। एक तरफ विश्वविद्यालय प्रशासन फीस वृद्धि के अपने निर्णय को तार्किक बता रहा है तो वहीं छात्र नेता आर-पार की लड़ाई के मूड में हैं। बैठक के बाद कमिश्नर ने कहा कि छात्रों की बात सुनी गई है। मंगलवार को इविवि प्रशासन के साथ छात्रों की बैठक में प्रशासन के प्रतिनिधि भी मौजूद रहेंगे। प्रयास किया जाएगा कि दोनों पक्षों में सहमति बन सके। ताकि पठन-पाठन और आगे की गतिविधियां सुचारु हो सके। छात्रों को आंदोलन शांतिपूर्वक और संवैधानिक दायरे में करने को कहा गया है। वार्ता में मौजूद रहे छात्र नेता अजय यादव सम्राट ने मंगलवार की बैठक में छात्रहित में फैसला आने की उम्मीद जताई। गौरतलब है कि इविवि प्रशासन ने 29 सितंबर को छात्र प्रतिनिधियों को वार्ता के लिए बुलाया था लेकिन वैध-अवैध के मसले पर हंगामा और तोड़फोड़ के कारण वार्ता नहीं हो सकी थी।
अनशन स्थल पर गूंजा ‘रघुपति राघव राजाराम’
इलाहाबाद विश्वविद्यालय छात्रसंघ भवन पर फीस वृद्धि के विरोध में आमरण अनशन विवार को 27वें दिन भी जारी रहा। छात्रों ने गांधी-शास्त्री को नमन किया और रघुपति राघव राजाराम... भजन गाया। आइसा के इकाई अध्यक्ष विवेक सुल्तानवी व समाजवादी छात्र सभा के निवर्तमान जिला महासचिव शिवशंकर सरोज लगातार दूसरे दिन अनशन पर रहे। इस मौके पर छात्र नेता हरेंद्र यादव, जितेंद्र धनराज, राहुल पटेल, सुधीर यादव, विजयकांत, चंद्रशेखर अधिकारी, अमित द्विवेदी, सत्यम कुशवाहा, शिवबली, यशवंत, अजय पांडेय, अनुराग, मनीष आदि उपस्थित रहे। डीएम संजय कुमार खत्री ने बताया कि छात्रों का पक्ष जानने के लिए उन्हें बातचीत के लिए बुलाया था। छात्रों ने अपनी समस्याएं रखी हैं, जिसे सुना गया। चार अक्तूबर को विश्वविद्यालय प्रशासन और छात्रों की बातचीत होगी। इसमें प्रशासनिक अफसर भी मौजूद रहेंगे।